गाजीपुर में दिनदहाड़े युवक को गोलियों से भूना, मौके पर हुआ कुछ ऐसा कि स्कार्पियो छोड़कर भागे बदमाश

Total Views : 4,398
Zoom In Zoom Out Read Later Print

यूपी के गाजीपुर जिले के एक गांव में बुधवार दोपहर घटी घटना से सनसनी मच गई। गांव निवासी अंकुर(25) की स्कार्पियो से आए दो बदमाशों ने गोली मारकर हत्या कर दी। भागने के क्रम में गाड़ी फंस गई तो दोनों एक व्यक्ति की बाइक छीनकर फरार हो गए। हमलावरों ने दहशत फैलाने के उद्देश्य से हवा में कई राउंड फायर भी किए। दिनदहाड़े इस तरह से फिल्मी अंदाज में हत्याकांड की वारदात से लोग सहम गए। आगे की स्लाइड्स में देखें..

सादात थाना क्षेत्र के पट्टी गरीब (मई) गांव के चकुरापुर मौजा के पास बुधवार दोपहर ब्याज के रुपये के लेन-देन में स्कार्पियो सवार दो लोगों ने बाइक सवार युवक की गोली मार कर हत्या कर दी। परिवार के सदस्यों ने पुलिस को शव देने से इनकार करते हुए एसपी और डीएम को बुलाने की मांग की। एसपी सिटी प्रदीप कुमार दुबे के आश्वासन पर सभी शांत हुए।  मृतक के पिता ने गांव के ही संजय सिंह, संदीप सिंह, रणजीत सिंह और रवि शंकर सिंह के खिलाफ हत्या की रिपोर्ट दर्ज कराई है।  गांव निवासी सुनील सिंह और उनका पुत्र अंकुर सिंह (25) ब्याज पर लोगों को रुपये देते हैं। 

दोनों पट्टीदार से ब्याज पर रुपये लेकर उसे अधिक ब्याज पर दूसरों को देते थे। उन पर पट्टीदार का लाखों रुपया बकाया हो गया है। इसे लेकर दोनों में कई बार झड़प हो चुकी है। अंकुर दोपहर बाइक से मेहनाजपुर जा रहा था। करीब डेढ़ बजे गांव के चकुरापुर मौजा के पास पहुंचा तो स्कार्पियो सवारों ने अंकुर की बाइक में टक्कर मार दी।  इसके बाद वाहन से दो व्यक्ति उतरे और एक ने अंकुर सिंह की कनपटी में राइफल से गोली मारकर हत्या कर दी। अंकुर की बाइक फंसने के कारण स्कार्पियो आगे नहीं बढ़ी तो बदमाश पैदल ही भागने लगे। 

इसी बीच पत्नी के साथ आ रहे एक व्यक्ति को असलहे से आतंकित कर बाइक छीन ली और फरार हो गए। क्षेत्राधिकारी सैदपुर ने बताया कि मौके से 315 बोर का खोखा और स्कार्पियो बरामद की गई है। तहरीर मिलने पर मुकदमा दर्ज कर कार्रवाई की जाएगी।  बीते 28 सितंबर को मृतक की मां पैसा मांगने गई थी और न देने पर छेड़खानी की रिपोर्ट भी थाने में दर्ज कराई थी। बावजूद पुलिस मामले को तनिक भी गंभीरता से नहीं ली और आज तक इस मामले में कोई कार्रवाई नहीं की गई।

 हत्या के बाद परिजनों के साथ ही ग्रामीणों में इस बात की चर्चा होती रही कि यदि पुलिस ने इस मामले को गंभीरता से लिया होता तो शायद अंकुर सिंह की हत्या नहीं हुई होती।  उधर, अंकुर की हत्या की खबर मिलते ही घर में कोहराम मच गया। पत्नी कामनी सिंह सहित मृतक की मां और अन्य लोग बदहवास होकर घटना स्थल की ओर दौड़ पर पड़े थे। पत्नी कामनी के आंसू थमने का नाम नहीं ले रहे थे। वह रोते-रोते कभी पूरी तरह से शांत हो जा रही थी तो कभी अपनी तीन वर्षीय पुत्री का चेहरा देख दहाड़े मारकर चीख-पुकार करने लग रही थी। 

हत्या की वारदात के समय ही आजमगढ़ जिला के मेहनाजपुर निवासी संतोष यादव अपनी पत्नी को बाइक से लेकर भीमापार की तरफ जा रहे थे। इसी दौरान पैदल भाग रहे अंकुर हत्यारों की जैसे ही उस पर नजर पड़ी। उन्होंने असलहा से भयभीत करते हुए संतोष को रोक लिया। इसके बाद उसे और उसकी पत्नी को बाइक से उताकर दोनों हमलावर बाइक लेकर फरार हो गए। असलहा होने की वजह से संतोष विरोध नहीं कर सका। घटना को लेकर उसके और उसकी पत्नी की आंखों में खौफ था। 

newsrefrence Amarujala 28/11/18